
अगर आप म्यूचुअल फंड में SIP करते हैं या शुरू करने की सोच रहे हैं, तो सबसे बड़ा सवाल यही होता है कि हर महीने कितनी SIP करें? इसका जवाब सिर्फ आपकी सैलरी नहीं, बल्कि आपकी उम्र भी तय करती है। कई फाइनेंशियल एक्सपर्ट्स का कहना है कि निवेश का सही फॉर्मूला उम्र के साथ बदलता रहता है। जितनी कम उम्र, उतना ज्यादा रिस्क और उतनी ही आक्रामक SIP; जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, फोकस सुरक्षा और स्थिरता पर आ जाता है।
फाइनेंशियल एक्सपर्ट कमलेश भगत ने अपने इंस्टाग्राम अकाउंट में एक पोस्ट में बताया कि किस उम्र में आपको कितनी SIP करनी चाहिए। चलिए जानते हैं-
25 से 30 साल: आक्रामक निवेश का सुनहरा मौका
इस उम्र में जिम्मेदारियां कम और समय सबसे बड़ा हथियार होता है। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, इस उम्र में आपको अपनी इनकम का 30% से 35% SIP में लगाना चाहिए। टारगेट होना चाहिए तेजी से वेल्थ क्रिएशन। इक्विटी म्यूचुअल फंड्स में ज्यादा निवेश कर आप लॉन्ग टर्म में बड़ा फंड बना सकते हैं।
31 से 35 साल: बड़े लक्ष्यों की तैयारी
इस फेज में शादी, घर या करियर से जुड़े बड़े फैसले सामने आते हैं। इसलिए SIP को थोड़ा बैलेंस करना जरूरी है। कमलेश इस उम्र में इनकम का 25% से 30% निवेश करने की सलाह देते हैं।
36 से 40 साल: जिम्मेदारियां बढ़ती हैं
बच्चों की पढ़ाई, घर की EMI और भविष्य की जरूरतें इस उम्र में प्रायोरिटी बन जाती हैं। ऐसे में SIP 20% से 25% तक रखना बेहतर माना जाता है। फोकस होता है बैलेंस मजबूत करना और लॉन्ग टर्म सिक्योरिटी।
41 से 45 साल: स्थिरता और सुरक्षा जरूरी
इस उम्र तक रिस्क लेने की क्षमता कम होने लगती है। एक्सपर्ट्स सलाह देते हैं कि SIP को 15% से 20% के बीच रखें। यहां निवेश का मकसद होता है स्टेबिलिटी, हेल्थ कवर और भविष्य की सुरक्षा।
46 से 50 साल: रिटायरमेंट की तैयारी
रिटायरमेंट ज्यादा दूर नहीं रह जाता। इसलिए रिस्क घटाकर SIP 10% से 15% पर लाना चाहिए। इस फेज में टारगेट होता है रिस्क कम करना और रिटायरमेंट प्लानिंग मजबूत करना।
51 से 60 साल: सुरक्षित आय पर फोकस
इस उम्र में SIP 5% से 10% तक सीमित रखनी चाहिए। एक्सपर्ट्स मानते हैं कि अब टारगेट रिटायरमेंट कॉर्पस बनाना और SWP के जरिए नियमित आय सुनिश्चित करना होना चाहिए।


