Thursday, October 30, 2025
Homeव्यापारदेश में घट गई सोने की मांग, पिछले 3 महीने में 16%...

देश में घट गई सोने की मांग, पिछले 3 महीने में 16% की आई जबरदस्त कमी, जानें क्या है वजह



Gold In India: देश में इस साल जुलाई-सितंबर तिमाही के दौरान सोने की मांग में जबरदस्त गिरावट देखी गई. विश्व स्वर्ण परिषद (WGC) की ताज़ा रिपोर्ट के अनुसार, मात्रा के हिसाब से सोने की कुल मांग 16 प्रतिशत घटकर 209.4 टन रह गई, जबकि पिछले साल इसी अवधि में यह 248.3 टन थी. यह कमी मुख्य रूप से सोने की ऊंची कीमतों के कारण उपभोक्ताओं की खरीदारी घटने से आई.

हालांकि, मूल्य के हिसाब से मांग 1,65,380 करोड़ रुपये से बढ़कर 2,03,240 करोड़ रुपये हो गई, यानी 23 प्रतिशत की वृद्धि हुई. इसका सीधा अर्थ यह है कि भले ही लोगों ने कम मात्रा में सोना खरीदा, लेकिन ऊंची कीमतों के कारण कुल खर्च बढ़ गया.

क्यों घटी सोने की मांग?

सोने के आभूषणों की मांग में सबसे बड़ी गिरावट देखी गई. यह पिछले साल की 171.6 टन से घटकर इस तिमाही में केवल 117.7 टन रह गई, यानी करीब 31 प्रतिशत की गिरावट. हालांकि, आभूषणों की खरीद का कुल मूल्य लगभग 1,14,270 करोड़ रुपये पर स्थिर रहा, क्योंकि खरीदारों ने बढ़ी हुई कीमतों के अनुसार अपने बजट को समायोजित किया.

दूसरी ओर, निवेश के रूप में सोने की मांग में जबरदस्त उछाल देखा गया. मात्रा के लिहाज से यह 20 प्रतिशत बढ़कर 91.6 टन हो गई, जबकि मूल्य के हिसाब से इसमें 74 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई और यह 51,080 करोड़ रुपये से बढ़कर 88,970 करोड़ रुपये पर पहुंच गई. WGC के भारत क्षेत्रीय सीईओ सचिन जैन के अनुसार, यह आंकड़े भारतीय उपभोक्ताओं के बीच सोने को दीर्घकालिक संपत्ति और सुरक्षित निवेश के रूप में अपनाने की बढ़ती प्रवृत्ति को दर्शाते हैं.

लगातार बढ़ रही चमक

इस तिमाही में भारत में सोने की औसत कीमत 46 प्रतिशत बढ़कर 97,074.9 रुपये प्रति 10 ग्राम रही, जबकि एक साल पहले यह 66,614.1 रुपये प्रति 10 ग्राम थी (जिसमें आयात शुल्क और जीएसटी शामिल नहीं है). अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सोने की कीमतें बढ़ीं और यह औसतन 3,456.5 डॉलर प्रति औंस रही, जो पिछले वर्ष की तुलना में काफी अधिक है.

सचिन जैन ने यह भी कहा कि मात्रा में गिरावट के बावजूद मूल्य में 23 प्रतिशत की ऐतिहासिक वृद्धि भारतीय उपभोक्ताओं की बदलती आर्थिक स्थिति और बढ़ती प्रति व्यक्ति आय को दर्शाती है. उन्होंने बताया कि हाल के महीनों में बढ़ती कीमतों के कारण कई उपभोक्ताओं ने शादी से जुड़ी खरीदारी पहले ही कर ली, जिससे आने वाली चौथी तिमाही में मजबूत बिक्री की उम्मीद है.

ये भी पढ़ें: अमेरिकी डॉलर की मजबूती के सामने नहीं टिक पा रहा भारतीय रुपया, फिर हुआ धराशायी



Source link

RELATED ARTICLES

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Most Popular

Recent Comments